Menu
blogid : 23731 postid : 1234360

बेहाल कश्मीर :जुबानी जंग नहीं जमीनी कार्यवाई की जरुरत

sach ke liye sach ke sath
sach ke liye sach ke sath
  • 80 Posts
  • 3 Comments

डेढ़ महीने का लम्बा वक्त गुजर चूका है। कश्मीर के हालात बद से बदतर होते जा रहे हैं। आजादी के बाद यह पहला अवसर है जब कश्मीर इतने बुरे दौर से गुजर रहा है। कुछ चुनिंदा कारपोरेट घरानों और मीडिया धर्म को ताक पर रखने बाले मीडिया हाउसों की जुगलबंदी के परिणामस्वरूप वजूद में आई मोदीमयी भाजपा के वन मैन शो के महानायक नरेन्द्र मोदी ने 2014 की चुनावी रैलियों में जिस 56 ईंच की छाती की बात की थी कश्मीर के हालात बताते हैं की चुनावी रैलियों में दहाड़ना जितना सरल है यथार्थ के धरातल पर उस दहाड़ को अमली जामा पहनाना उससे लाख गुना कठिन है।
56ईंच छाती पर नापाक पाक की लगातार पड़ती ठोकरों के जबाब में मोदीमयी भाजपा के महानायक नरेन्द्र मोदी सहित गृह मंत्री राजनाथ सिंह ,अरुण जेटली ,सुषमा स्वराज सिर्फ वीर रस से ओत -प्रोत भाषणबाजी ही कर रहे हैं। संभवतया आजाद भारत के इतिहास में यह पहला अवसर था जब दक्षेस सम्मेलन में भारतीय मीडिया का प्रवेश प्रतिबंधित किया गया। इस शर्मनाक प्रतिबन्ध के बाद गृह मंत्री ने यदि विरोध स्वरुप दक्षेस सम्मेलन का बहिष्कार किया होता तब पाक की इस अपमानजनक हरकत के विरुद्ध वैश्विक सन्देश जाता। यही हाल पठानकोट एयरबेस पर आतंकी हमले की पाकिस्तानी एजेंसी से जांच के आत्मघाती फैसले का हुआ जिसने जाँच रिपोर्ट में भारत को ही पठानकोट एयरबेस हमले का अपराधी बताया। पाकिस्तान के मामले में मोदी सरकार की रीति -नीति ने इस देश को शर्मसार किया है।
जो महबूबा मुफ़्ती संसद पर हमले के दोषी अफजल गुरू को शहीद कहती हैं कश्मीर में कथित देश भक्त भाजपा का उनसे गठबंधन है। जमीनी हालात भाजपा की छद्म देश भक्ति को उजागर करते हैं। 45 दिन से कर्फ्यू झेल रहे कश्मीर के हालात कैसे हैं इसका अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है की आतंकी हमलों के भय से सैन्य बलों को दिन में चक्रमण की अनुमति नहीं है। हालिया आतंकी हमला सेना केरात्रि कालीन गश्ती बाहन पर रात के अंतिम प्रहर में हुआ है। उपद्रवियों को तितर -बितर करने के लिए इस्तेमाल होने बाली पैलेट गन के प्रयोग से सेना को रोकने का फरमान कश्मीर के दौरे पर गए गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने जारी किया जिसने प्रकारांतर से सैन्यबल की मुश्किलों को बढ़ाया ही है।
मोदी सरकार और टीम मोदी को यह समझना होगा की नापाक पाक को जुबानी तलबार भांज कर लगाम नहीं दी जा सकती। कश्मीर के हालात पर काबू पाने के लिए वाणी बीर सरकार की नहीं दृढ इक्षाशक्ति बाली सरकार की जरुरत है। मोदी सरकार और टीम मोदी को राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के सुप्रीमो मोहन भागवत ने कश्मीर के सबाल पर आईना दिखाते हुए कहा है की कश्मीर के ख़राब हालात के लिए सरकार जिम्मेवार है क्योंकि कश्मीर में गुड गवर्नेस नहीं है। मोहन भागवत ने भी कश्मीर में जमीनी सख्त कार्यवाई की आवश्यकता बताई है।दुर्भाग्यवश इन पंक्तियों के लिखे जाने तक मोदी सरकार और टीम मोदी सिर्फ और सिर्फ जुबानी तलबार ही भांज रही है जिसने इस देश को निराश किया है। कश्मीर के हालात पर काबू पाने में मोदी सरकार आजाद भारत की सबसे कमजोर सरकार सिद्ध हुई है।

Read Comments

    Post a comment

    Leave a Reply

    Your email address will not be published. Required fields are marked *

    CAPTCHA
    Refresh